Johar36garh (Web Desk)| ढाई साल की बच्ची दो दिन से गुमसुम है और मां को तलाश रही है। दो दिन में उसने मां के बारे में कोई भी सवाल नहीं किया। उसे समझ ही नहीं आ रहा था कि उसकी मां कहां गई। जब बच्ची को अंतिम दर्शन के लिए पड़ोसी राहुल लेकर पहुंचा तो उसने मां के चेहरे को छुआ और कहा ‘मम्मा गई”। यह सुनते ही वहां मौजूद लोगों के आंखों से आंसू छलक पड़े। इसके बाद बच्ची को गोद में लेकर पड़ोसी राहुल ने मुखाग्नि दिलवाई।
ढाई साल की बच्ची को उसके अपने ही पिता ने अनाथ कर दिया। पिता ने बच्ची की मां और नानी की हत्या की और भाग गया, लेकिन कुछ देर बाद ही पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया। गुरुवार को पड़ोसियों ने मां-बेटी के दाह संस्कार की व्यवस्था की और मुखाग्नि ढाई साल की बच्ची ने दी। यह दृश्य देख पंचकुइया मुक्तिधाम में मौजूद लोगों की आंखों में आंसू आ गए। परिवार में बच्ची को संभालने वाला अब कोई नहीं बचा है। इसलिए पड़ोसियों ने बच्ची की जिम्मेदारी उठाने की बात कही है।
द्वारकापुरी थाना क्षेत्र में बुधवार को संदीप (30) पिता देवेंद्र सोनी निवासी द्वारकापुरी ने पत्नी नीतू (28) और सास पद्मा (50) पति दौलतराम निवासी द्वारकापुरी की चाकू मारकर हत्या कर दी। इसके बाद संदीप वहां से भाग गया। पुलिस को सूचना मिलने के बाद संदीप को पानी-पूरी खाते हुए गिरफ्तार कर लिया गया था। नीतू और संदीप की ढाई साल की बेटी सौम्या उर्फ गुड़िया भी है। नीतू और संदीप का करीब एक साल से झगड़ा चल रहा था, इसलिए दोनों अलग रह रहे थे। जहां हत्या हुई वहां भी नीतू और उसकी मां 15 दिन पहले ही रहने आए थे। गुड़िया मां के साथ ही रह रही थी। लेकिन मां और नानी की हत्या के बाद वह बेसहारा हो गई।
पड़ोसी एनके जोशी ने बताया कि संदीप को पुलिस ने पकड़ लिया। अब उनके परिवार में अंतिम संस्कार करने वाला भी कोई नहीं बचा था। सास पद्मा के पिता रामफल वर्मा वृद्ध और गरीब हैं। उनकी खराब आर्थिक स्थिति को देखते हुए पड़ोसियों ने अंतिम संस्कार कराने का निर्णय लिया और रुपए इकट्ठा किए। अंतिम संस्कार के बाद 13 दिन जो रस्में अदा की जाती हैं, उसका भी बंदोबस्त पड़ोसियों ने किया है।
राहुल वाधवानी ने बताया कि यदि बच्ची का कोई ध्यान नहीं रखता है तो उसे पड़ोसियों ने ही गोद लेने का फैसला किया है। उसके पालन-पोषण से लेकर पूरा ख्याल रखा जाएगा। इसके लिए वे जिला प्रशासन और कोर्ट का दरवाजा भी खटखटाने को तैयार हैं। नीतू के नाना और गुड़िया के परनाना रामफल वर्मा ने भी इसकी अनुमति दे दी है।
एनके जोशी ने बताया कि बुधवार को मां-बेटी की हत्या के बाद दोनों के शव जिला अस्पताल में पोस्टमार्टम के लिए भिजवा दिए गए थे। पोस्टमार्टम के बाद शाम पांच बजे पड़ोसियों को शव सौंपे गए। इसके बाद पंचकुइया मुक्तिधाम ले जाया गया। यहां करीब छह बजे अंतिम संस्कार हुआ।
द्वारकापुरी 60 फीट रोड पर मां-बेटी की शवयात्रा में शामिल होने आस-पड़ोस सहित कई लोग पहुंचे। जब मां-बेटी की अर्थी एक साथ निकली तो राहगीर भी ठिठक गए। मां और नानी के अंतिम संस्कार के वक्त बच्ची गुड़िया को भी मुक्तिधाम ले जाया गया था। बच्ची दो दिन से गुमसुम है और मां को तलाश रही है। दो दिन में उसने मां के बारे में कोई भी सवाल नहीं किया। उसे समझ ही नहीं आ रहा था कि उसकी मां कहां गई। जब बच्ची को अंतिम दर्शन के लिए पड़ोसी राहुल लेकर पहुंचा तो उसने मां के चेहरे को छुआ और कहा ‘मम्मा गई”। यह सुनते ही वहां मौजूद लोगों के आंखों से आंसू छलक पड़े। इसके बाद बच्ची को गोद में लेकर पड़ोसी राहुल ने मुखाग्नि दिलवाई।