खरोरा | प्रदर्शनी के माध्यम से बच्चों को पढ़ाने और समझाने की नई पहल ब्लाक के घिवरा सरकारी स्कूल में देखने को मिली है | यहाँ पर अधिकांश विषयों को प्रदर्शनी के माध्यम से स्कूल के सभी कक्षाओं के बच्चें सीख ले रहे है, और कठिन से कठिन पाठ को आसानी ने समझ ले रहे है | यह सब स्कूल के शिक्षकों दूरगमी सोच और ऊर्जावान बच्चों की मेहनत से सम्भव हो पाया है |प्रदर्शनी के लिए स्कूल के एक कमरे में चारों ओर दीवारों पर अलग अलग विषयों की जानकारी दी गई है | इनकी जानकारी बच्चों द्वारा लोगों को दी जाती है | प्रदर्शनी में मुख्य रूप से पाचन तंत्र के तरिके , सौर ऊर्जा की विधि, पवन चक्की की प्रणली, फूल के जीवन चक्र, प्रकाश संश्लेषण की प्रक्रिया, लौह अयस्कों के बारे में, प्रश्नों के उत्तर को भी वैज्ञानिक तरीके से बताने का प्रयास किया गया है, विभिन्न वैज्ञानिकों द्वारा किये गए शोध की जानकारी दी जा रही है | स्कूल के परियोजना के प्रायोजक विज्ञान व्याख्याता श्री सी,पी ढ़ीढ़ी ने जानकारी देते हुए बताया की प्रदर्शनी के माध्यम से विज्ञान के अध्यायों को शामिल किए हैं, भविष्य में और भी विषयों को प्रदर्शनी लगाई जाएगी | इस प्रदर्शनी का नाम (हमारा स्कूल सबके लिए) रखा गया है | यह प्रदर्शनी को सभी स्कूलों के छात्र-छात्राओं, शिक्षक,माता पिता,एवं पालक,नागरिक,अधिकारी, कर्मचारी भी सकते है।
स्कूल द्वारा किए गए इस पहल को ब्लाक शिक्षा अधिकारी बी.एल देवांगन ने बहुत सराहा और पुरे प्रदर्शनी का निरिक्षण किया | उन्होंने इस सराहनी कार्य के लिए 25,000 हजार रुपए स्कूल को प्रोत्साहन राशि दी |
समूहीकृत कक्षा- बच्चों को समूह में विभाजित कर समूह कार्य कराया जाता है।
मेरा पाठ योजना –प्रत्येक शनिवार को बच्चों द्वारा पाठ पढ़ाया जाता है जिनका विडियो बना कर युट्यूब पर अपलोड किया जाता है।
मेरी परीक्षण- प्रत्येक ईकाई की समाप्ति पश्चात कंप्यूटर प्रिंटेड प्रश्न पत्र के माध्यम से ईकाई परीक्षा का आयोजन।
मैं भी वैज्ञानिक- प्रत्येक समूह के द्वारा विषय वस्तु के अनुरूप चित्र, चार्ट, माडल बनाकर रजिस्टर में लिपिबद्ध कर जमा करना।
ज्ञान संग्रहण- प्रत्येक पाठ की समाप्ति उपरांत सैद्धांतिक, प्रायोगिक, प्रायोजनाओं की कापी तैयारी कर।
पालक जागरूकता- पालको को जागरूक करने के लिए समय समय पर पालको के लिए विशेष कार्यक्रम का आयोजन
स्कूल आन-लाइन- खुद के वेब साईट के माध्यम से परिक्षा परिणाम तथा विभिन्न सुखना पालको तक पहुंचाया जाता है।
मान सम्मान- प्रत्येक बच्चों को उनके द्वारा किये गये उत्कृष्ट कार्य के लिए प्रार्थना सभा में ही सम्मानीत किया जाता है।
स्वयं दान- समुदाय को स्कूल से जोड़ने के लिए सजग नागरिकों से स्वयं दान के लिए प्रेरित किया जाता है । स्वयं दान के पश्चात उन्हें प्रमाण पत्र प्रदान किया जाता है
खरोरा से राजकुमार बंजारे की रिपोर्ट